जय हो जय हो सद्गुरु सरकार बलिहार बलिहार। तेरी महिमा अपरंपार बलिहार बलिहार।।
जिनके दिव्यज्ञान से युक्त प्रवचन सभी शंकाओ का समाधान करते हुए भक्तियोग का सीधा सरल मार्ग प्रशस्त करते हैं। जिन्होनें भारत की अतुल संपत्ति शास्त्रों ,वेदों,उपनिषदों एवं अन्यानय धर्म ग्रन्थों के दुर्लभ ज्ञान को जन-जन तक पहुंचाकर ऋषि मुनियों की परंपरा को पुनर्जीवन प्रदान किया है। ऐसे भक्तियोग रसावतार सद्गुरु देव के श्री चरणों में कोटि-कोटि प्रणाम।
समस्त शास्त्रों वेदों के गूढ़तम सिद्धांतों को भी सरल सरस रूप में प्रस्तुत करके जन साधारण के मस्तिक्ष में बिठाना,जिनके व्यक्तित्व की विलक्षणता रही है। ऐसे ज्ञान के अगाध समुद्र को कोटि-कोटि प्रणाम।
जिनके दिव्यज्ञान से युक्त प्रवचन सभी शंकाओ का समाधान करते हुए भक्तियोग का सीधा सरल मार्ग प्रशस्त करते हैं। जिन्होनें भारत की अतुल संपत्ति शास्त्रों ,वेदों,उपनिषदों एवं अन्यानय धर्म ग्रन्थों के दुर्लभ ज्ञान को जन-जन तक पहुंचाकर ऋषि मुनियों की परंपरा को पुनर्जीवन प्रदान किया है। ऐसे भक्तियोग रसावतार सद्गुरु देव के श्री चरणों में कोटि-कोटि प्रणाम।
समस्त शास्त्रों वेदों के गूढ़तम सिद्धांतों को भी सरल सरस रूप में प्रस्तुत करके जन साधारण के मस्तिक्ष में बिठाना,जिनके व्यक्तित्व की विलक्षणता रही है। ऐसे ज्ञान के अगाध समुद्र को कोटि-कोटि प्रणाम।
जिन्होंने भारतीय संस्कृति ,सभ्यता की ज्योति को शास्त्रीय ज्ञान के
द्वारा ऐसा प्रज्ज्वलित कर दिया है जो कभी नहीं बुझेगी। सनातन धर्म सनातन
रहेगा । ऐसे महामनीषी को शत शत प्रणाम।
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