Friday, April 12, 2013

मायाबद्ध जीव का तो गोविन्द राधे !
तनु छुड्वाया जाय कष्ट हो बता दे !!

भावार्थ - मायाबद्ध जीव को शरीर छोड़ते समय असह पीड़ा होती है !
सहस्त्रों बिच्छुओं के एक साथ काटने से जो पीड़ा होती है वही
...
पीड़ा मायाधीन जीव को मृत्यु के समय होती है ! मायाधीन
जीव को शारीर छोड़ने को यमराज विवश करते हैं !

----जगद्गुरु श्री कृपालु जी महाराज .
मायाबद्ध जीव का तो गोविन्द राधे !
तनु छुड्वाया जाय कष्ट हो बता दे !!

भावार्थ - मायाबद्ध जीव को शरीर छोड़ते समय असह पीड़ा होती है !
सहस्त्रों बिच्छुओं के एक साथ काटने से जो पीड़ा होती है वही 
पीड़ा मायाधीन जीव को मृत्यु के समय होती है ! मायाधीन 
जीव को शारीर छोड़ने को यमराज विवश करते हैं !

----जगद्गुरु श्री कृपालु जी महाराज .

 
 

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